कुंडलपुर(विश्व परिवार) -आचार्य श्री विद्यासागर महाराज के ब्रह्मलीन होने के उपरांत 16 अप्रैल 2024 को सिद्ध क्षेत्र कुंडलपुर में निर्यापक श्रमण मुनि श्री 108 समय सागर महाराज आचार्य पद पर समस्त मुनि संघ की उपस्थिति में आसीन हुए
उनके आचार्य पद पर आसीन होने के बाद सभी की और से शुभकामनाएं प्रेषित की जा रही हैं एवं अनुमोदना की जा रही है इसी क्रम में असम राज्य के राज्यपाल श्री गुलाबचंद कटारिया ने भी पत्र लिखकर अनुमोदन प्रेषित की है। एक पत्र संदेश के माध्यम से उन्होंने पत्र में लिखा है कि विश्व वंदनीय आचार्य श्री 108 विद्यासागर जी महाराज के ब्रह्मलीन होने पर श्री दिगंबर जैन सिद्ध क्षेत्र कुंडल गिरी कुंडलपुर में दिनांक 16 अप्रैल 2024 को आयोजित किए जाने वाले आचार्य पदारोहण अनुष्ठान महोत्सव में आचार्य श्री 108 विद्यासागर जी महाराज के प्रथम शिष्य परम पूज्य निर्यापक मुनि श्री 108 समय सागर जी महाराज का आचार्य पद पर विराजमान होना अत्यंत ही प्रसन्नता का विषय है।
श्री कटारिया ने पत्र लिखते हुए लिखा है कि परम पूज्य निर्यापक श्रमण मुनि श्री 108 समय सागर जी महाराज जैन परंपरा के संत शिरोमणि है। आचार्य समय सागर जी का जन्म 27 अप्रैल 1958 को हुआ था। आचार्य श्री समय सागर जी महाराज की जन्मस्थली कर्नाटक के बेलगाम में है। महाराज श्री ने 2 मई 1975 को ब्रह्मचर्य व्रत अपनाया। 18 मई,1975 को क्षुलक दीक्षा ग्रहण की। इसके बाद ऐलक दीक्षा और मुनि दीक्षा ली। उनके दीक्षा गुरु आचार्य गुरुवर विद्यासागर महाराज रहे। आचार्य समय सागर जी महाराज के आचार्य पद पदारोहण के पश्चात जैन समाज को एक नई दिशा मिलेगी। और संपूर्ण समाज संत शिरोमणि आचार्य समय सागर जी महाराज के बताए मार्गो पर ही आगे बढ़ेगा।
मुझे पूर्ण विश्वास है कि परम पूज्य आचार्य श्री 108 समय सागर जी महाराज के आचार्य पदारोहण से भगवान महावीर के शाश्वत सिद्धांतों एवं उनके संदेशों को जन-जन तक पहुंचाने का कार्य सुगम होगा तथा समाज में शांति, सहिष्णुता, अहिंसा राष्ट्रभक्ति की भावना और अधिक मजबूत होगी।
आचार्य पद पदारोहण अनुष्ठान महोत्सव के सफल आयोजन हेतु मेरी अनंत शुभकामना।