नई दिल्ली (विश्व परिवार)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार 2029 के लोकसभा चुनाव में 33 प्रतिशत महिला आरक्षण को लागू करने पर विचार कर रही है।
रिपोर्ट के मुताबिक, केंद्र सरकार नारी शक्ति वंदन अधिनियम पर विचार कर रही है, जिसके तहत अगले लोकसभा चुनाव और राज्य विधानसभाओं में महिलाओं के लिए एक तिहाई सीटें आरक्षित की जाएंगी।
बताया जा रहा है कि महिला आरक्षण विधेयक परिसीमन प्रक्रिया से जुड़ा हुआ है।
केंद्र सरकार के अधिकारियों ने बताया कि महिला आरक्षण को लागू करने के लिए जनगणना होगी। इसके बाद तय समय पर परिसीमन की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।
इसके बाद चुनाव आयोग द्वारा निर्वाचन क्षेत्रों के नए परिसीमन के आधार पर 2029 के चुनाव कराए जा सकेंगे।
बता दें कि जनगणना मार्च 2027 से शुरू होगा, जो 2 चरण में होगा। जनगणना 2021 में होनी थी, लेकिन कोरोना के चलते इसे स्थगित कर दिया गया था।
कानून के मुताबिक, इससे राज्य विधानसभाओं, केंद्र शासित प्रदेश दिल्ली की विधानसभा और लोकसभा में महिलाओं को 33 प्रतिशत आरक्षण दिया जाएगा।
इसी 33 प्रतिशत में से एक तिहाई सीटें अनुसूचित जाति (एससी) और अनुसूचित जनजाति (एसटी) की महिलाओं के लिए होंगी। यानी एससी और एसटी महिलाओं को अलग से आरक्षण नहीं मिलेगा, बल्कि आरक्षण के भीतर ही आरक्षण होगा। विधान परिषद और राज्यसभा में ये आरक्षण लागू नहीं होगा। अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) को भी आरक्षण नहीं मिलेगा।