बीरगांव (विश्व परिवार)। नगर पालिक निगम बीरगांव में स्वच्छता दीदीयां अपने कार्य बहुत ही अच्छे से मेहनत लगन से कार्य निष्टा पूर्वक कर रही हैंl जिसके फल स्वरूप स्वच्छता दीदियां ठोस अपशिष्ट से पैसे कमा रही है, स्वच्छता दिदियों का यह सोच हैं कि अन्य किसी के लिए यह कचरा होगा। किंतु यह कचरा हमारे जीवन में सोने से कम नही हैं। क्योंकि यह हमारी आर्थिक स्थिति मजबूत करने में मदद करता है। गौरतलब है कि बीरगांव निगम की स्वच्छता दीदियां सूखा कचरा को कबाड़ियों के माध्यम से विक्रय कर पैसे कमा रही है। विगत 1 साल से कचरा बेचकर 19 लाख 99 हजार 642 रुपए की अतिरिक्त नगद कमाई हुई है। साथ ही अभी और अनुमानित रुपए 1,50,000.00 आना शेष है । घर-घर कचरा कलेवशन से मिले सूखा कचरा से यह फायदा उन्हें मिला है।
दरअसल, शहर के 40 वाडों में 08 एसएलआरएम सेंटर है। जिसमें करीब 187 स्वच्छता दीदियां काम कर रहीं है। हर दिन सुबह ये डोर टू डोर कचरा कलेक्शन के लिए निकल पड़ती हैं। इसके बाद पुट्ठा, प्लास्टिक से बने सामान, टीना-लोहा से बने सामग्री,प्लास्टिक बोतल, शीशी-बोतल, न्यूज पेपर यानी घरों से निकलने वाले कचरा लेती हैं। जिसे एसएलआरएम सेंटर लाया जाता है। एसआरएलएम केंद्र में सूखे कचरों को कबाड़ी को बेचती है। और गीले कचरे से खाद बनाने का काम किया जाता है।
सूखे कचरे को तोड़कर बड़ी-बड़ी बोरियों में पैककर रख दिया जाता है। पुट्ठा को बेलिंग मशीन द्वारा बेल किया जाता है। इस सूखे कचरे को हर महीने स्वच्छता दीदी कबाड़ियों को बेचते हैं। एक एसएलआरएम सेंटर में 15000.00 से 80000.00 हजार रुपए तक का सूखा कचरा से हर माह आय होता है। यह पैसा समूह के खाते में आता है। जिसके बाद दीदियों द्वारा आपस में बांट लिया जाता है। इस प्रकार हर महीने 7200 .00 रु. मानदेय के अतिरिक्त 1500 .00 रु. से 2000 00 हर माह अतिरिक्त लाभ दीदियां अर्जित कर रहीं। जिससे उनके घर परिवार में आर्थिक रूप से बहुत ही ज्यादा मदद दे रही है एवं अपने घर चलाने में भी उन लोग सक्षम बन चुके हैं।
प्रदेश के उपमुख्यमंत्री जी एवं भारसाधक मंत्री नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग द्वारा स्वच्छता के क्षेत्र में काम कर रहे स्वच्छता दीदियों के बेहतरी के लिए हर संभव प्रयास किया जा रहा है।