इंदौर (विश्व परिवार)। पंचम पट्टाधीश आचार्य श्री वर्धमान सागर जी महाराज मुंगाणा नगर में संघ सहित विराजित है आचार्य श्री संघ सानिध्य में प्रतिदिन धार्मिक अनुष्ठान किए जा रहे हैं ।
आचार्य श्री वर्धमान सागर जी सानिध्य में चमत्कारी श्री आदिनाथ भगवान की प्रतिमा पर भव्य पंचायत अभिषेक विभिन्न द्रव्यों से समाज अध्यक्ष करनमल मैदावत ने परिवार सहित किया। सुगंधित जल ,शांति धारा का मंत्रोच्चार आचार्य श्री ने किया। भक्ति पूर्वक मंगल कारी द्रव्यों से पंचामृत अभिषेक करने से पुण्य की प्राप्ति होती है यह मंगल देशना आचार्य श्री वर्धमान सागर जी ने अभिषेक के महत्व पर प्रतिपादित की।आचार्य संघ की आहार चर्या के बाद दोपहर को स्वाध्याय, शाम को श्रीजी की आरती आचार्य श्री की आरती के बाद संस्कार शिविर के माध्यम से मुनि श्री हितेंद्र सागर जी द्वारा सरल भाषा में श्रावक द्वारा की जाने वाली क्रियायो बाबद उपदेश दिया जा रहा हैं ।राजेश पंचोलिया अनिरुद्ध ने बताया कि मुनि हितेंद्र सागर ने संस्कार शिविर में भगवान के दर्शन की विधि, अभिषेक क्यों करना चाहिए , पंचामृत अभिषेक से क्या पुण्य की प्राप्ति होती है मंत्रोच्चार शुद्ध करना चाहिए, दर्शन स्तुति ,चार कषाय जीव अजीव के भेद आदि पर अपना उपदेश दिया। आचार्य श्री वर्धमान सागर जी को संघ सहित अपने नगर खूता , धरियावद प्रवेश हेतु सकल समाज द्वारा श्रीफल भेंट कर निवेदन किया गया। इसके पूर्व आचार्य श्री की शिष्या आर्यिका दर्शना मति ने बालकों को संस्कार घर पर देने का महत्व बताया। गुरु डाक्टर वैद्य होते है जो अपने अमृत उपदेश से संसार भ्रमण जन्म मरण से छुटकारा पाने की राह बताते हैं । प्रवचन में श्रीपाल पचौरी, बाबूलाल पचौरी, रमेश दोशी, धनपाल पचोरी,रमेश मैदावत, देवेन्द्र पचौरी, कांतिलाल जैकनावत सहित काफी संख्या में श्रावक , श्राविकाएं उपस्थित रहे।
प्रतिदिन होने वाले धार्मिक कार्यों में समाज द्वारा उत्साह भक्ति पूर्वक भाग लिया जा रहा हैं ।