- आदिवासी संस्कृति के संरक्षण एवं किसान हित में भी पूछा प्रश्न
पंडरिया (विश्व परिवार)। पंडरिया विधानसभा विधायक भावना बोहरा ने आज विशेष पिछड़ी जनजाति बैगा आदिवासी परिवारों के हित एवं उन्हें कृषि और सिंचाई में आ रही समस्याओं को विधानसभा पटल में रखा। उन्होंने बैगा आदिवासी किसानों को जल संकट की वजह से सिंचाई व कृषि कार्य में हो रही समस्या के समाधान एवं पूर्व में उन क्षेत्रों में हुए ट्यूबवेल खनन में अनियमितता के संबंध में भी प्रखरता से मुद्दा उठाते हुए उन्हें सिंचाई हेतु पर्याप्त पानी की उपलब्धता सुनिश्चित करने एवं अनियमितता की जांच की मांग सदन में की।
भावना बोहरा ने प्रश्न किया कि वर्ष 2019 से 2024 तक में कबीरधाम जिले में कितने विशेष पिछड़ी जनजाति बैगा हितग्राहियों के खेतों को ट्यूबवेल खनन कार्य हेतु चयनित किया गया था तथा ट्यूबवेल खुदाई कर पंप प्रतिस्थापन किया गया? क्या इस ट्यूबवेल खनन कार्य में अनियमितता होने संबंधी कोई शिकायत प्राप्त हुई है? यदि हाँ, तो अनियमितता से संबंधित अधिकारी / कर्मचारी पर क्या कार्यवाही की गई? परन्तु विभाग द्वारा 6 वर्ष की व्यापक जानकारी को नियमों के परिपेक्ष्य में उत्तर आ सके इस हेतु सचिवालय द्वारा प्रश्न की अवधि को कम करने की जानकारी दी गई। विभागीय मंत्री श्रीराम विचार नेताम जी की अनुपस्थिति में वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री श्री केदार कश्यप ने बताया कि वर्ष 2021 से 2024 तक विभाग द्वारा कबीरधाम जिले में विशेष पिछड़ी जन-जाति बैगा हितग्राहियों के खेतों को नलकूप खनन हेतु चयनित नहीं किया गया है, अतः नलकूप खनन कर पम्प प्रतिस्थापन की जानकारी निरंक है। प्रश्नाधीन अवधि में नलकूप खनन एवं पम्प प्रतिस्थापन कार्य में अनियमितता होने संबंधित कोई भी शिकायत प्राप्त नहीं हुई है।
भावना बोहरा ने कहा कि विधानसभा के समक्ष यह प्रश्न करने का हमारा उद्देश्य यही है कि विशेष पिछड़ी जनजातीय बैगा आदिवासी परिवारों को कृषि व सिंचाई हेतु उन्हें पर्याप्त जल की आपूर्ति हो सके वे केवल वर्षा जल पर ही निर्भर रहते हैं जिसकी वजह से उन्हें खेती-किसानी करने में बहुत ही समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने मंत्री जी के पूछा कि वर्तमान में सरकार द्वारा क्या बैगा आदिवासी परिवारों को सिंचाई के लिए बोरवेल खनन को लेकर कोई योजना बनाई जा रही है क्या? जिसके उत्तर में वन मंत्री जी ने बताया कि पीएम जनमन योजना के तहत हमारे बैगा आदिवासी एवं जनजातीय समुदाय के विकास, कृषि,शिक्षा एवं अधोसंरचना निर्माण के लिए कार्य कर रहें हैं। इसके तहत उनकी हर सुविधाओं एवं आवश्यकताओं के लिए योजना बनाकर कार्य किया जा रहा है। भावना बोहरा ने वर्ष 2019 के बाद से इन क्षेत्रों में अब तक बोर खनन का कार्य नहीं हुआ है और हमारे वनांचल क्षेत्र में निवासरत परिवार चाहे वह जनजातीय समुदाय हो या बैगा आदिवासी परिवार हैं कृषि पर ही निर्भर रहते हैं। वहीं वर्ष 2019 में इन क्षेत्रों में हुए नलकूप खनन में हुई अनियमितता के बारे में भावना बोहरा ने कहा कि वर्ष 2019 में इन क्षेत्रों में 93 नलकूप खनन की स्वीकृत शासन द्वारा दी गई थी जिसमें भारी अनियमितता हुई है जिसकी पूर्ण जानकारी उन्होंने सदन के समक्ष रखा। उन्होंने कहा कि इस नलकूप खनन में प्रति नलकूप का भुगतान तत्कालीन अधिकारियों एवं कार्य करने वाली एजेंसियों के साथ मिलकर 94 हजार रुपए की दर से इसका भुगतान किया गया है और जी.आई.पाइप की जगह उसमें प्लास्टिक पाइप लगाया गया जिसकी जांच की मांग भी उन्होंने सदन में रखी।
भावना बोहरा ने प्रश्न पूछा कि छत्तीसगढ़ राज्य में आदिवासी संस्कृति, लोक कला व धार्मिक संस्कृति रीति रिवाज के संरक्षण, संवर्धन एवं समूह बनाने हेतु क्या प्रयास किया जा रहे हैं? कबीरधाम जिले (आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र) में क्या-क्या कार्यक्रम/योजनाएं व कार्य किये जा रहे हैं? जिसके लिखित प्रतिउत्तर में आदिम जाति विकास मंत्री श्री रामविचार नेताम जी ने बताया कि छत्तीसगढ़ राज्य में आदिवासी संस्कृति, लोक कला व धार्मिक संस्कृति रीति रिवाज के संरक्षण, संवर्धन हेतु आदिवासी सांस्कृतिक दलो को सहायता योजना, देवगुडी निर्माण/मरम्मत विकास योजना, शहीद वीर नारायण सिह स्मृति लोककला महोत्सव, अनुसूचित जनजाति छात्रावासों में शहीद वीर नारायण सिंह स्मृति कार्यक्रम तथा आदिवासी परब सम्मान योजना का क्रियान्वयन किया जा रहा है। संचालनालय पुरातत्व, अभिलेखागार एवं संग्रहालय विभाग द्वारा भी पुरखौती मुक्तांगन संग्रहालय नवा रायपुर में छत्तीसगढ़ राज्य के लोक कला व धार्मिक रीति रिवाज एवं संस्कृति के संरक्षण एवं संवर्धन हेतु, परंपरागत जनजातीय कलाकारों के माध्यम से विभिन्न शिल्प कला को पुरखौती मुक्तांगन में प्रदर्शित किया गया है। इसके अतिरिक्त संस्कृति एवं राजभाषा आयोग विभाग द्वारा भी छत्तीसगढ़ राज्य में आदिवासी संस्कृति, लोक कला व धार्मिक संस्कृति रीति रिवाज के संरक्षण, संवर्धन हेतु कार्य किया जा रहा है। जिला कबीरधाम में आदिवासी संस्कृति का परिरक्षण एवं विकास अंतर्गत आदिवासी सांस्कृतिक दलो को सहायता योजना में सांस्कृतिक दलों को राशि रूपये 10,000/-के मान से सहायता प्रदान की गई है। अनुसूचित जनजाति पोस्ट मैट्रिक छात्रावासों में शहीद वीर नारायण सिंह स्मृति कार्यक्रम का आयोजन किया गया है। संस्कृति एवं राजभाषा विभाग द्वारा वित्तीय वर्ष 2024-25 में जनप्रतिनिधियों के मांग अनुसार विभिन्न उत्सवों, महोत्सव एवं मेला मंडई के अवसर पर 69 सांस्कृतिक कार्यक्रमों की मंचीय प्रस्तुति हेतु लोक कलाकारों को अवसर प्रदान कर राशि रूपये 42.15 लाख स्वीकृत किया गया है।
भावना बोहरा ने किसानों के प्रशिक्षण एवं उपकरण वितरण के संबंध में प्रश्न किया कि पंडरिया विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत वर्ष दिसंबर, 2023 से 1 फरवरी, 2025 तक शाकंभरी योजना, किसान समृद्धि योजना, राष्ट्रीय खाद्य मिशन एवं अन्य योजनाओं के तहत किसानों को प्रशिक्षण एवं कृषि यंत्रों के क्रय कर वितरण हेतु कितनी राशि स्वीकृत/वितरित की गई? कृषि यंत्रों के क्रय हेतु आबंटित राशि से किस-किस संस्था/फर्म से कितनी-कितनी मात्रा में कृषि यंत्र किस आधार पर क्रय किए गए? जिसके लिखित उत्तर में आदिम जाति विकास मंत्री जी ने बताया कि विभाग द्वारा जानकारी विधानसभा क्षेत्रवार नहीं अपितु विकासखंडवार संधारित की जाती है। विधानसभा क्षेत्र पंडरिया से सबद्ध विकासखंड पंडरिया, कवर्धा एवं सहसपुर लोहारा में दिसंबर, 2023 से 1 फरवरी, 2025 तक किसानों के लिए राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन एवं अन्य योजनाओं के तहत् कुल 180 प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित की गई है जिसमें कुल 5 लाख 54 हजार रुपए की राशि व्यय की गई है। शाकम्भरी योजना, किसान समृद्धि योजना में प्रशिक्षण का प्रावधान नहीं है। विभाग द्वारा कृषि यंत्र का क्रय नहीं किया जाता है, अपितु कृषकों को अनुदान पर प्रदाय किया जाता है। विभाग द्वारा कृषकों को हस्त चलित स्प्रेयर पम्प का वितरण छ.ग. राज्य बीज एवं कृषि विकास निगम लिमिटेड एवं कृषकों द्वारा क्रय स्प्रेयर पम्प पर अनुदान राशि डी. बी. टी. के माध्यम से प्रदाय किया गया है। छ.ग. राज्य बीज एवं कृषि विकास निगम लिमिटेड अंतर्गत चैम्प्स प्रणाली के तहत कृषकों द्वारा अपनी पसंद के आधार पर पंजीकृत प्रदायकों/निर्माताओं से शक्ति चलित कृषि यंत्रों का क्रय किया गया है।