Home जयपुर   तिरंगे में भी धर्म छिपा हुआ है – मुनि प्रणम्य सागर

तिरंगे में भी धर्म छिपा हुआ है – मुनि प्रणम्य सागर

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पांच दिवसीय अर्हं स्वात्म साधना शिविर का रविवार को होगा समापन
शिविरार्थियों ने मौन व एकान्त में रहकर की आत्म साधना 
मीरामार्ग के आदिनाथ भवन में स्वतंत्रता दिवस पर झण्डारोहण के बाद हुआ विशेष प्रवचन

जयपुर(विश्व परिवार)। मीरामार्ग के आदिनाथ भवन पर मुनि प्रणम्य सागर महाराज ससंघ के सानिध्य में स्वतंत्रता दिवस मनाया गया। साथ ही पांच दिवसीय अर्हं स्वात्म साधना शिविर के चौथे दिन शुक्रवार को शिविरार्थियों ने मौन व एकान्त रहकर आत्म साधना करते हुए स्व कल्याण की क्रियाएं की।
कार्यकारिणी सदस्य अरुण जैन एवं अशोक गोधा ने बताया कि शिविरार्थी बाहरी सांसारिक गतिविधियों से दूर रहकर बिना मोबाईल के बिल्कुल मौन रहकर आत्म साधना कर रहे हैं।
कार्यकारिणी सदस्य अरुण जैन एवं अशोक छाबड़ा ने बताया कि इस शिविर में मुनि श्री ने क्षणिक और सदैव व्यस्त जीवन एवं क्षण भंगुरता में कुछ क्षण स्वयं के लिए निकालने के उपाय बताएं ।
मीरामार्ग के आदिनाथ भवन पर मुनि प्रणम्य सागर महाराज ससंघ के सानिध्य में लगाई गई
शाश्वत सिद्ध क्षेत्र श्री सम्मेद शिखर जी की सजीव रचना की झांकी को देखने के लिए गुरुवार एवं शुक्रवार को भी बड़ी संख्या में श्रद्धालुगण उमड़े।
अर्हम योग प्रणेता मुनि प्रणम्य सागर महाराज के सानिध्य में मीरा मार्ग के आदिनाथ भवन पर 78 वां स्वतंत्रता दिवस बडी धूमधाम से मनाया गया।
इससे पूर्व आचार्य विद्यासागर महामुनिराज की संगीतमय पूजा की गई। आचार्य समय सागर महाराज एवं मुनि प्रणम्य सागर महाराज का अर्घ्य चढाया गया।
तत्पश्चात समाजश्रेष्ठी एवं प्रतिमाधारी व्रती धर्म चन्द जैन एवं शीतल कटारिया परिवार द्वारा तिरंगे का ध्वजारोहण किया गया। तत्पश्चात संत शिरोमणि आचार्य विद्यासागर महामुनिराज एवं आचार्य समय सागर महाराज के चित्र का जयकारों के बीच अनावरण किया गया। भगवान आदिनाथ के चित्र के समक्ष दीप प्रज्जवलन किया गया। तत्पश्चात मुनि भक्त महावीर कासलीवाल एवं परिवारजनों ने प्रणम्य सागर महाराज के पाद पक्षालन एवं शास्र भेट करने का पुण्यार्जन किया। इस मौके पर विशिष्ट अतिथि के रूप में युवा समाजसेवी प्रदीप जैन, विनोद जैन कोटखावदा, दर्शन बाकलीवाल, सुभाष बज, सुधीर कासलीवाल
ने मुनि श्री को श्रीफल भेट कर आशीर्वाद प्राप्त किया।
मुनि श्री ने अपने प्रवचन में तिरंगे के बारे में बताया कि तिरंगे झण्डे के तीन रंगों में भी धर्म छिपा हुआ है। गहरा केसरिया रंग मंगलता, शुभता एवं पवित्रता का प्रतीक है। यह पंच परमेष्ठी में आचार्य परमेष्ठी का रंग है। सफेद रंग स्वच्छता,निर्मलता, शुद्धता का प्रतीक है। यह आत्मा के उज्जवल भावों की विशुद्धि को दर्शाता है। हरा रंग समृद्धि का प्रतीक है। समृद्धि कृषि से आती है। बीच का चक्र धर्म चक्र की याद दिलाता है।यदि देश में सुख शांति बनी रहेगी तो यह धर्म चक्र की याद दिलाता रहेगा। मुनि श्री ने सभी को धर्म से पहले देश हित की सोचने तथा देश हित में कार्य करने की सलाह दी।
समिति के कार्यकारिणी सदस्य अरुण जैन एवं अशोक गोधा ने बताया कि मीरामार्ग के श्री आदिनाथ भवन पर मुनि प्रणम्य सागर महाराज ससंघ के सानिध्य में शनिवार, 17 अगस्त को प्रातः 8.15 बजे श्री पार्श्वनाथ कथा का संगीतमय आयोजन आयोजन किया जाएगा।इस मौके पर आचार्य विद्यासागर महामुनिराज की पूजा एवं मुनि श्री प्रणम्य सागर महाराज के प्रवचन होगें। मुनि श्री की आहारचर्या प्रातः 9:40 बजे होगी। दोपहर में 3.00 बजे शास्र चर्चा होगी। गुरुभक्ति एवं आरती सांय 6:30 बजे एवं वैयावृत्ति रात्रि 8:30 बजे होगी।
अध्यक्ष सुशील पहाड़िया एवं मंत्री राजेन्द्र सेठी ने बताया कि पांच दिवसीय अर्हं स्वात्म साधना शिविर का रविवार, 28 अगस्त को समापन होगा।

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