मनोहर गौशाला खैरागढ़ का मना 11वां स्थापना दिवस, शामिल हुए छत्तीसगढ़ गौ सेवा आयोग के अध्यक्ष
रायपुर(विश्व परिवार)। खैरागढ़ स्थित मनोहर गौशाला के 11वें स्थापना दिवस पर दो दिवसीय भव्य कार्यक्रम आयोजित किया गया। परमात्मा की भव्य पूजा-अर्चना कर प्रभु पार्श्व का जन्म कल्याणक भी मनाया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि छत्तीसगढ़ गौ सेवा आयोग के अध्यक्ष विशेषर सिंह पटेल ने कहा कि बिना गौ माता की सेवा के हमारा जीवन आगे नहीं बढ़ सकता। मनोहर गौशाला में जिस तरह से गौमाताओं की सेवा की जा रही है, वह सराहनीय है। इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. गिरीश चंदेल ने कहा कि गौसेवा से ही हमारा भविष्य उज्जवल हो सकता है। हमारे वैज्ञानिक गोबर, गौमूत्र पर लगातार रिसर्च कर रहे हैं, जिसमें मनोहर गौशाला का भरपूर सहयोग मिल रहा है। कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि जीव जंतु कल्याण बोर्ड भारत सरकार के डायरेक्टर सुनील मानसिंहका, इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के डायरेक्टर ऑफ रिसर्च डॉ. विवेक त्रिपाठी, जीवदया रत्न अवार्ड से सम्मानित प्रीति मालू नवसारी (गुजरात), मनोहर गौशाला के ट्रस्टी महेंद्र लोधा, वरिष्ठ समाजसेवी राजेंद्र डाकलिया, खैरागढ़ कलेक्टर चंद्रकांत वर्मा, एसपी त्रिलोक बसंल, वरिष्ठ समाज सेवी डॉ. मुकेश शाह, दाऊ पुरुषोत्तम वासुदेव चंद्राकर अंजोरा विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति नारायण पुरुषोत्तम दक्षिणकर,जिला पंचायत खैरागढ़ अध्यक्ष विक्रांत सिंह मौजूद थे।
प्रीति मालू को मिला जीवदया रत्न अलंकरण
मनोहर गौशाला के ट्रस्टी डॉ. अखिल जैन (पदम डाकलिया) ने बताया कि कार्यक्रम में जीवदया गोष्ठी आयोजित की गई। इस दौरान श्रीमती प्रीति मालू नवसारी (गुजरात) को उनके द्वारा स्कूल के छात्रों से रोजाना एक लाख रोटी एकत्रित कर गौ सेवा में वितरित करने के लिए जीवदया रत्न अलंकरण प्रदान किया गया।
भजन की प्रस्तुति से मंत्रमुग्ध हुए गौसेवक
कार्यक्रम में पूजन कराने के लिए पंकज चोपड़ा खाचरौद से पधारे थे। साथ ही भजन संख्या भी हुई। भजन सम्राट नमन जैनम डाकलिया बंधु ने भजनों की प्रस्तुति से दर्शकों-गौ भक्तों का मन मोह लिया।
कार्यक्रम में ये रहे मौजूद
कार्यक्रम का कुशल संचालन गगन बरडिया और आभार प्रदर्शन वरिष्ठ समाजसेवी इंदु लोढ़ा ने किया। कार्यक्रम में महेंद्र लोढ़ा, प्रवीण पारख, राजेश बरलोटा, , मनीष बोथरा, अक्षय पात्रा, प्रभु गौर दास स्वामी जी, राजेंद्र डाकलिया, श्रेणिक नाहर चेन्नई सहित गौसेवक, किसान, स्थानीय लोग मौजूद थे।